माया देवी मंदिर हरिद्वार. Maya Devi Mandir Haridwar

Maya Devi Mandir Haridwar

हेलो दोस्तों स्वागत है आपका देवभूमि उत्तराखंड के आज के नए लेख में। आज के इस लेकर माध्यम से हम आप लोगों के साथ उत्तराखंड का प्रसिद्ध मंदिर माया देवी मंदिर के बारे में जानकारी देने वाले हैं। माया देवी मंदिर हरिद्वार ( Maya Devi Mandir Haridwar ) में स्थित उत्तराखंड के प्रसिद्ध धार्मिक स्थलों में से एक है। चलिए एक नजर माया देवी मंदिर के बारे में एवं उसके इतिहास से जुड़े बातों की ओर डालते हैं।

माया देवी मंदिर हरिद्वार के सबसे प्राचीन मंदिरों में से एक है। 52 शक्तिपीठों में से एक एवं पंच तीर्थ स्थलों में से एक माया देवी मंदिर धार्मिक आस्था और विश्वास का केंद्र बना हुआ है। हिंदू देवी अधिष्ठात्री को समर्पित माया देवी मंदिर की स्थापना 11वीं शताब्दी के आसपास की मानी जाती है।

देवभूमि उत्तराखंड को प्राचीन काल से ही दिव्य आत्माओं का निवास स्थान माना जाता है । किवदंति है कि हरिद्वार भी उन्हें पवित्र शहरों में से एक है । मान्यता है कि माया देवी के हृदय और नाही इस क्षेत्र में गिरे थे जहां पर आज माया देवी का प्रसिद्ध मंदिर स्थापित है।

ऐतिहासिक मान्यताओं के आधार पर कहा जाता है की देवी माया हरिद्वार ( Maya Devi Mandir Haridwar ) की अधिपतिथी देता है । मान्यता यह भी है कि हरिद्वार को पहले माया देवी के नाम पर मायापुरी के नाम से जाना जाता था।

पूरे वर्ष भर में इस मंदिर में हजारों की संख्या में दर्शनार्थियों का आवागमन लगा रहता है स्थानीय मान्यताओं के आधार पर बताया जाता है कि जो भी बस इस मंदिर में सच्चे मन से कामना करते हैं उनकी मनोकामना जरुर पूर्ण होती है।

माया देवी मंदिर की पौराणिक, Maya Devi Mandir Haridwar Kahani

पौराणिक कथाओं के आधार पर माया देवी मंदिर के बारे में जानकारी मिलती है की देवी सती ने अपने पिता द्वारा अपने पति भगवान शिव का अपमान किए जाने पर जीवन का बलिदान दिया था। मान्यता है की देवी सती के पिता ने एक बड़ा सा व्याख्या करवाया जिसमें देवी सखी और उनके पति भगवान शिव को नहीं बुलाया गया जिसके कारण उन्हें बुरा लगा। देवी सती की मृत्यु के पश्चात भगवान शिव जी इतने दुखी हुए कि उन्होंने देवी सती के शरीर को कैलाश पर्वत पर ले जाने का फैसला किया। कैलाश पर्वत पर ले जाते समय देवी सती के शरीर के हिस्से अलग-अलग स्थान में गिरने लगे और जिस स्थान पर नाभि एवं हृदय गिरे वह स्थान उत्तराखंड का हरिद्वार है इसलिए उत्तराखंड के पवित्र स्थान में हरिद्वार को विशेष महत्व दिया जाता है।

माई देवी मंदिर की एक विशेष प्रमुख का यह भी है की मनसा देवी मंदिर और चंडी देवी मंदिर को लेकर एक त्रिभुज का निर्माण होता है। और इस दिव्य रूपी त्रिभुज का लाभ यहां आने वाले सिद्धांतों को जरूर मिलता है।

मंदिर में दर्शन करने आए सभी श्रद्धालु गंगा नदी में स्नान करके माया देवी के दर्शन करते हैं। दिव्य शक्ति का प्रतिनिधित्व करते हैं इस प्राचीन एवं पवित्र मंदिर के बारे में मान्यता है कि जो भी भक्त माया देवी मंदिर में सच्चे मन से कामना करते हैं मां उनकी मनोकामना जरुर पूर्ण करती है। भक्तों ने जब भी सच्चे मन से गुहार लगाई मां माया देवी ने जी उनकी पुकार जरूर सुनी।

दोस्तों यह था हमारा आज का लेख जिसमें हमने आपको माया देवी मंदिर हरिद्वार के बारे में ( Maya Devi Mandir Haridwar ) जानकारी दी। आशा करते हैं कि आपको यह लेख पसंद आया होगा। इस लेख के संदर्भ में अपनी अभिव्यक्ति टिप्पणी के माध्यम से साझा करें। और ऐसे ही नहीं जानकारी के लिए देवभूमि उत्तराखंड को जरूर फॉलो करें।

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